6:40 pm
Randhir Singh Suman
पुलिस में भर्ती कराने के लिए पुलिस महानिदेशक ट्रेनिंग डी पि सिन्हा के पुत्र रितेश सिन्हा व बहुजन समाज पार्टी के सहारनपुर के नेता धूम सिंह के रैकेट का पर्दाफाश हुआ है। फिलहाल दोनों गिरफ्तार किए गए हैं । उच्च स्तर के पुलिस अधिकारियों की छवि घोटालेबाज, भ्रष्टाचारी, रिश्वतखोर के रूप में आए दिन जनता के सामने प्रदर्शित होती रहती है। हमारी न्यायव्यवस्था के समक्ष अधिकांश वाद इन्ही भ्रष्टाचारियों के पर्वेक्षण में दाखिल होते है और उनके द्वारा लिखी गई बातें या विवेचना के आधार पर ही न्यायपालिका न्याय का कार्य करती है। इस तरह से क्या न्याय होता है क्या अन्याय होता है यह समझने की आवश्यकता है । कोई भी भर्ती होने वाली होती है तो बेरोजगारों को ठगने के लिए तरह तरह के रैकेट कार्य करने लगते हैं । जिसमें राजनेता उच्च अधिकारी व दलाल शामिल होते हैं । करोडो रुपये बेरोजगारों से ठगा जाता है और बेरोजगार नवजवानों को कोई लाभ भी नही होता है। अगर जांच की जाए तो अधिकांश उच्चाधिकारी किसी न किसी घोटाले में लिप्त हैं। अब सरकार अपने कर्मचारियों व अधिकारियो की निष्पक्ष भर्ती करने में भी असमर्थ हैं। एक-एक अधिकारी अरबों रुपयों की परिसम्पतियों का मालिक है जो उसको मिलने वाली तनख्वाह से कई गुना ज्यादा होती है स्तिथि यह है की जिसको हम शासन व प्रशासन कहते हैं वह सफेदपोश अपराधियों का जमावड़ा होता है ऐसे में आम नागरिक का भला कैसे होगा सारी व्यवस्थाएं असफल हैं । इस भर्ती रैकेट मामले में पुलिस महानिदेशक डी.पी सिन्हा व उनके पुत्र के ख़िलाफ़ सकारात्मक कार्यवाही सम्भव नही है क्योंकि सत्तारूढ़ दल व नौकरशाही का यह गठजोड़ है और
बप्पा पुलिस महानिदेशक हैं और बेटवा घोटालेबाज है ।
3:49 pm
Manmohit Grover
छिंदवाड़ा(डॉ. कौशल किशोर श्रीवास्तव): एम.एन.एस. के डान राज ठाकरे ने फतवा जारी किया कि महाराष्ट्र विधानसभा के सभी विधायक दिनांक 7-11-09 को मराठी में शपथ लेंगे नहीं तो उन्हें देख लिया जायेगा। इससे महाराष्ट्र विधानसभा के सभी सदस्य डर गये। लगता है कि महाराष्ट्र के विधायकों ने राज ठाकरे जैसे उद्दंड बालक का मन रखने के लिए उक्त फतवा मान लिया। उधर बाल ठाकरे को सचिन तेन्दुलकर के देश भक्ति पूर्ण उस वक्तव्य पर आपति है कि मुंबई पूरे देश का है। राज ठाकरे और बाल ठाकरे की तुलना नहीं की जा सकती। जहां बाल ठाकरने ने एक एक तिनका इक_ा करके एक संगठन को खड़ा किया है वहीं राज ठाकरे ने उसे संगठन पर डाका डाला है। उन्हें जो लूट में मिला उससे वे बहुत खुश हैं। हालांकि दोनों ठाकरे चाहते हैं कि राष्ट्र से सब कुछ लेते रहे और महाराष्ट्र के दरवाजे राष्ट्र के लिए बंद कर दिये जायें। अभी राज ठाकरे का नया फतवा जारी हुआ कि केन्द्रीय परीक्षाओं में मात्र मराठी भाषियों को बैठने दिया जाये। यह मराठी भाषा को एक खतरे का संकेत है। यदि यह फतवा मान लिया जाता है तो कल राज ठाकरे कहेंगे कि इन परीक्षाओं में केवल एम.एन.एस. के कार्यकर्ताटों को ही बैठने दिया जाये, क्या पता? इस संकीर्ण फतवें से भारत के विखंडन की बू आ रही है। दूसरी ओर मराठी भाषियों को इन परीक्षाओं की स्वस्थ प्रतिस्पर्धा नहीं मिलेगी प्रतियोगिता के अभाव में वे कूप मण्डूक हो जायेंगे। राज ठाकरे को ज्ञात होना चाहिए कि मराठी पर से हिन्दी का छत्र उठ जाने पर अंग्रेजी मराठी भाषा को निगल लेगी। वैसे भी महाराष्ट्र से विदर्भ कोंकण इत्यादि प्रांत अलग होने को छटपटा रहे है। गोंदिया, इत्यादि क्षेत्रों में तो हिन्दी ही बोली जाती है। उनका जय महाराष्ट्र का नारा मात्र जय मुंबई होकर न रह जाये, फिर मुंबई में भी पचास प्रतिशत लोग हिन्दी ही बोलते हैं। हिन्दी ने फिल्मों के माध्यम से वहां के कलाकारों को केवल समृद्ध नहीं किया बल्कि विश्व भर में एक पहचान दी है। ऐसा न हो कि राज ठाकरे जैसे अति वादियों के चलते विदर्भ, कोंकण गोंदिया सहित महाराष्ट्र जम्मू कश्मीर की तरह गरीब प्रांत होकर न रह जाये। फिर क्या आज जो पूरे भारत में महाराष्ट्रियों को इज्जत की नजरों से देखा जाता है वह इज्जत उनसे छिन नहीं जायेगी? मुंबई देश की आर्थिक राजधानी का दर्जा खो नहीं देगा उन्हें अपने संकुचित राजनैतिक हितों के लिए मराठी भाषियों की बलि नहीं चढ़ाना चाहिए। उन्होंने हिन्दी में विधान सभा में शपथ लेने वाले अबू आजमी की पिटाई लगा कर संसदीय गरिमा का हनन किया है। कहीं यह कदम एक साम्प्रदायिक भेदभाव एवं दंगों को जन्म न दे दे। जहां उन्हें एक अल्पसंख्यक सदस्य द्वारा हिन्दी में शपथ लेने पर प्रसन्नता जाहिर करनी थी वहीं सदन में उसकी पिटाई लगा कर पागल पन का इजहार किया है। यह एक शर्मनाक बात है। विचित्र बात है कि उनके सदस्यों ने अंग्रेजी में शपथ लेने पर आपत्ति प्रस्तुत नहीं की जबकि फतवा यह था कि सभी सदस्य मराठी में शपथ लेंगे। यह उनकी गुलाम मानसिकता का परिचायक है। राज ठाकरे अभी भी अंग्रेजी एवं अंग्रेजों के गुलाम है। ब्रिटेन और अमरीका के लोग अब उन पर थूकते होंगे क्योंकि गुलामों के साथ वे यही व्यवहार करते थे। इसी मानसिकता के चलते वे तलाशी के नाम पर हमारे राजनायिको को नंगा कर देते हैं। यहां महाराष्ट्रीयन और मराठी भाषी में भेद करना जरूरी है। सभी महाराष्ट्रीयन मराठी नहीं बोलते। हिन्दी में शपथ लेने पर एक संवैधानिक तरीके से चुन कर आये विधायक को चांटा मारना महाराष्ट्रयनों का अपमान है, यह महाराष्ट्र का भी अपमान है। आज यदि ईमानदारी से सर्वेषण करवाया जावे तो अस्सी प्रतिशत महाराष्ट्रीयन हिन्दी जानते हैं और पचास प्रतिशत मराठी नहीं जानते। अकोला, चन्द्रपुर, नागपुर, गोंदिया, मुंबई, अमरावती इत्यादि के अनेक परिवारों के रिश्ते ग्वालियर, इन्दौर, बैतूल, छिंदवाड़ा, उज्जैन, बालाघाट, सिवनी आदि जिलों के अनेक परिवारों से है। राज ठाकरे ने इस रिश्ते में खटास पैदा कर दी है। आज पचास प्रतिशत महाराष्ट्रीयन दहशत में जी रहे हैं। आज यदि गैर महाराष्ट्रीयनों को महाराष्ट्र से निकाल दिया जाये तो महाराष्ट्र में बचेगा क्या? आर्थिक राजधानी वहां से हट जायेगी, फिल्म उद्योग वहां से हट जायेगा। भगवान न करे ये लोग हमारा शिर्डी, पण्डरपुर, नासिक, शेगांव इत्यादि तीर्थों में जाना बंद न कर दें क्या हम इन लोगों के कहने पर स्वामी राम तीर्थ, छत्रपति शिवाजी, बाबा साहेब अम्बेडकर, लोकामन्य तिलक, बाल गंगाधर तिलक, संत ज्ञानेश्वर, इत्यादि महापुरूषों का आदर बंद कर देंगे क्या हम इन महापुरूषों की पूरे भारतवर्ष में लगी लाखों मूर्तियों को हटा देंगे। नहीं पूरे भारतवर्ष में बिखरे हिन्दी भाषी इतने संकीर्ण नहीं है। दोनों ठाकरे लोगों को महाराष्ट्र को कश्मीर बनाने से रोका जाना चाहिए।
3:47 pm
Manmohit Grover
सिरसा: सी ब्लॉक स्थित किडजी प्ले स्कूल में आज दंत चिकित्सा शि
विर का आयोजन किया गया। जेसीडी डेंटल कॉलेज की ओर से आयोजित इस दंत चिकित्सा शिविर में कॉलेज के दंत रोग विशेषज्ञ चिकित्सकों ने नन्हें बच्चों के दांतों की जांच की। इस शिविर में जेसीडी के दंत चिकित्सकों डॉ. वरूण, डॉ. अनिश, डॉ. संदीप, डॉ. मुसकान, डॉ. सुनैना, डॉ. आशा यादव, डॉ. शीतल, डॉ. जसदीप व डॉ. तरूणा ने बच्चों के दांतों की जांच की। स्कूल की निदेशिका श्रीमती सावित्री गोयल ने इस दंत चिकित्सा शिविर के आयोजन के लिए जेसीडी डेंटल कॉलेज का आभार जताया। शिविर में दंत चिकित्सकों ने बच्चों को प्रतिदिन टुथब्रश करने की सलाह दी। उन्होंने बच्चों को बताया कि उन्हें प्रतिदिन सुबह व शाम ब्रश करना चाहिए। चिकित्सकों ने ठंडे व गर्म खाद्य पदार्थों का कम सेवन करने की भी सलाह दी। इस मौके पर किडजी प्ले स्कूल के स्टाफ सदस्य भी उपस्थित थे।
1:55 pm
Manmohit Grover
सिरसा: गत दिवस शहर की प्रमुख समाजसेवी संस्था श्री मारूति चैरिटेबल ट्रस्ट एवं लॉयन्ज क्लब सिरसा प्राईड के तत्वधान शहर में आगामी सप्ताह से मोबाईल वस्त्र बैंक नाम से चार रिक्शा ट्रालियां चलाई जा रही हैं जिसका विधिवत शुभारम्भ रविवार 13 दिसम्बर को जिला बार एसोसिएशन के प्रधान व जिला पार्षद सुरेश मेहता द्वारा किया जाएगा। यह जानकारी देते हुए लॉयन्ज क्लब सिरसा प्राईड के सचिव विजय कम्बोज तथा मारूति चैरिटेबल ट्रस्ट के ट्रस्टी पृथ्वी सिंह जे.ई. ने संयुक्त रूप से बताया कि इस मोबाईल वस्त्र बैंक का उद्देश्य शहर में घर-घर जाकर पुराने वस्त्र तथा अनुपयोगी वस्तुएं कम्बल, जर्सी, गर्म वस्त्र, बूट, जुराबें, खिलौने आदि एकत्रित करना है जिसे शहर में विभिन्न स्थानों पर झोंपड़-पट्टी में प्रवासी मजदूरों तथा आर्थिक रूप से पिछड़ी बस्तियों में वितरित किया जाएगा ताकि आगामी दिनों में कंपकंपाती ठंड में उक्त लोगों के परिवार तथा उनके बच्चों को राहत मिल सके। श्री कम्बोज ने नगरवासियों विशेषकर महिलाओं से इस पुनीत कार्य में सहयोग करने की अपील की है। उन्होंने कहा कि क्लब द्वारा संचालित रिक्शा प्रत्येक दिन शहर के विभिन्न मोहल्लों में घर-घर जाकर अनुपयोगी गर्म वस्त्र एकत्रित करेंगी जिसमें शहरवासियों का सहयोग प्रार्थनीय है। उन्होंने नगरवासियों से इस महायज्ञ में आहुति डालने का आह्वान किया है तथा नगरवासियों विशेषकर माताओं-बहनों से इस सम्बन्ध में आज से ही अधिक-से-अधिक सहयोग की अपील की है।
1:43 pm
Manmohit Grover
सिरसा(ग्रोवर) निकटवर्ती ग्राम बाजेकां निवासी एक स्कूली छात्र की एक स्कूली वाहन की चपेट में आने से मृत्यु हो गई। आदित्य नामक 20 वर्षीय यह छात्र सावन पब्लिक स्कूल में पढ़ता था, जिसे प्रात: करीब दस बजे लालबत्ती चौक के पास स्कूल के ही वाहन ने टक्कर मार दी, जिस पर उसकी घटना स्थल पर मृत्यु हो गई। मृत्यु की सूचना मिलते ही स्कूल प्रबंधन तथा परिवारजन मौके पर पहुंचे और मृतक की लाश को पोस्टमार्टम के लिए सामान्य अस्पताल पहुंचाया गया।
1:42 pm
Manmohit Grover
सिरसा(ग्रोवर) स्थानीय वरिष्ठ अधिवक्ता नेम चंद मोदी के निधन का समाचार सुनते बहिन शीला देवी ने भी दम तोड़ दिया। बहिन-भाई के इस निधन से परिवारजनों में गम का पहाड़ टूट पड़ा। जिला बार ऐसोसिएशन के प्रधान सुरेश मेहता ऐडवोकेट की अध्यक्षता में हुई एक आपात बैठक में बहिन-भाई के निधन पर शोक व्यक्त करते हुए बार में नो वर्क डे रखा गया और दिवंगत आत्माओं की शांति के लिए दो मिंट का मौन रखकर श्रद्धाजंलि दी गई। बार ऐसोसिएशन के सदस्य एवं नगर परिषद सिरसा के पूर्व वरिष्ठ उपाध्यक्ष विजय बांसल ऐडवोकेट ने श्री मोदी को ईमानदार व परिश्रमी अधिवक्ता बताते हुए कहा कि उन्होंने मूल्यों पर आधारित जीवन जीते हुए आम आदमी को न्याय दिलवाने में अहम् भूमिका निभाई।
5:58 pm
Randhir Singh Suman
लिब्रहान आयोग की रिपोर्ट पर बहस के दौरान संसद में श्री बेनी प्रसाद वर्मा सांसद ने माननीय अटल बिहारी वाजपेई पर टिपण्णी कर दी जिससे संसदीय चर्चा रुक गई और भारतीय जनता पार्टी ने श्री बेनी प्रसाद वर्मा से माफ़ी मांगने के लिए कहा किंतु श्री वर्मा ने माफ़ी मांगने से इनकार कर दिया। सवाल इस बात का नही है कि माननीय अटल बिहारी बाजपेई जी हमारे प्रधानमंत्री रहे है हिन्दी के अच्छे वक्ता हैं । सवाल यह है कि बाबरी मस्जिद के समय उनकी भूमिका एक षड़्यंत्रकारी की थी जिसकी पुष्टि भी लिब्रहान आयोग ने की है। हमारे छात्रजीवन में श्री अटल बिहारी बाजपेई जी जब चुनाव लड़े थे और पराजित हुए थे । उस समय उनपर यह आरोप था कि वह क्रांतिकारियों के ख़िलाफ़ ब्रिटिश साम्राज्यवाद की तरफ़ से गवाही देने का कार्य किया करते थे जिसके बड़े-बड़े पोस्टर लखनऊ शहर में लगते थे और उसका कभी भी खंडन माननीय अटल बिहारी वाजपेई जी ने नही किया । उसी चुनाव में माननीय अटल जी के चाचा जी जिनका नाम मुझे अब याद नही है, उन्होंने ने ब्रिटिश साम्राज्यवाद की तरफ़ से उनके द्वारा गवाही देने वाली बात की पुष्टि भी की थी । माननीय अटल जी कभी भी निर्विवाद नेता नही रहे है। हिंदू राष्ट्र बनने की परिकल्पना में आज भी वह शामिल हैं जो भारतीय संविधान के विरुद्ध है जबकि धर्म आधारित राज्य जनता को न्याय लोकतंत्र स्वतंत्रता नही दे सकते हैं। हमारा देश एक बहुजातीय, बहुधर्मीय, बहुभाषीय है । विविधिता में एकता हमारा मूलमंत्र है इसी आधार पर हम प्रगति कर सकते हैं । श्री बेनी प्रसाद वर्मा एक समझदार व बुजुर्ग राजनेता हैं उनकी टिपण्णी भी ग़लत नही हो सकती है लेकिन तमाम सारे विवादों को टालने के लिए उन्होंने खेद प्रकट किया जो उचित था ।